सहजाद आलम /महुआडंड़
विज्ञान केवल तथ्यों का संग्रह नहीं है, बल्कि यह दुनिया के बारे में आलोचनात्मक, वस्तुनिष्ठ और निष्पक्ष रूप से सोचने का तरीका भी है :-एसडीओ मिस्टर बिपिन कुमार दुबे
विज्ञान प्रदर्शनी महाविद्यालय के विद्यार्थियों की रचनात्मकता, सृजनशीलता और नवाचार की शक्ति को प्रदर्शित करती है।साथ ही भावी व वर्तमान पीढ़ी को विज्ञान के महत्व को समझने में विशेष भूमिका निभाता है :- डॉ. फादर एम. के. जोश
संत जेवियर महाविद्यालय के विद्यार्थियों में विज्ञान प्रदर्शनी के ज़रिए आधुनिक वैज्ञानिक चेतना का अंतर प्रवाह किया गया।
संत जेवियर्स महाविद्यालय प्रत्येक वर्ष विज्ञान प्रदर्शनी का आयोजन करता आया है। यह आयोजन विद्यार्थियों में वैज्ञानिक सोच, खोजी दृष्टिकोण और नवीन प्रयोगों के प्रति जिज्ञासा को प्रोत्साहित करता है। यह प्रदर्शनी विद्यार्थियों में विज्ञान के प्रति उनकी अभिरुचि को जागृत करने के साथ-साथ नवाचार की भावना को भी विकसित करने का एक सशक्त माध्यम है।
इसी क्रम में इस वर्ष भी, दिनांक 28 फरवरी 2025 को महाविद्यालय के भव्य सभागार में विज्ञान प्रदर्शनी का आयोजन किया गया। इस अवसर पर कई गणमान्य अतिथि उपस्थित थे, जिसमें मुख्य अतिथि के रूप में महुआडांड़ के अनुमंडल पदाधिकारी मिस्टर बिपिन कुमार दुबे उपस्थित थे।
महाविद्यालय के प्राचार्य महोदय, उप प्राचार्य फादर समीर टोप्पो, फादर लियो, डॉ. फादर राजीप तिर्की ने सभी अतिथियों का स्वागत पुष्पगुच्छ प्रदान कर किया।
मुख्य अतिथि महुआडांड़ के अनुमंडल पदाधिकारी माननीय बिपिन कुमार दुबे ने विज्ञान प्रदर्शनी कार्यक्रम में प्रतिभागियों को संबोधित और उत्प्रेरित करते हुए कहा कि “आप सभी विद्यार्थियों ने विभिन्न उत्कृष्ट परियोजनाओं को प्रस्तुत कर तथा हम सबों के समक्ष उनके बारे में बेहतरीन व्याख्या प्रस्तुत करके यह सिद्ध किया है कि आपमें वैज्ञानिक दृष्टिकोण, रचनात्मकता और नवाचार की भावना प्रबल रूप से विद्यमान है। आपके इस प्रयास से हम सभी गौरवान्वित महसूस कर रहे हैं।उन्होंने सभी प्रतिभागियों के प्रयासों की सराहना करते हुए उनके उज्ज्वल भविष्य की कामना की।
प्राचार्य महोदय डॉ. फादर एम. के. जोश ने अपने संबोधन में कहा कि “विद्यार्थियों के द्वारा निर्मित विभिन्न परियोजनाएं,वैज्ञानिक अनुसंधान और नवाचार के प्रति उनकी उत्सुकता, जुनून तथा समर्पण को प्रदर्शित करता है। उन्होंने विद्यार्थियों के परियोजनाओं की सराहना की तथा विज्ञान प्रदर्शनी कार्यक्रम को विद्यार्थियों के सर्वांगीण विकास के विकास के लिए अत्यंत आवश्यक बताया।
अपने संबोधन के दौरान उन्होंने कहा कि ” विज्ञान प्रदर्शनी महाविद्यालय के विद्यार्थियों की रचनात्मकता, सृजनशीलता और नवाचार की शक्ति को प्रदर्शित करती है। यह महाविद्यालय के विद्यार्थियों में किसी भी नए ज्ञान के प्रति जिज्ञासा , सोचने की शक्ति, प्रस्तुति कौशल और संचार कौशल विकसित करता है।”
इस विज्ञान प्रदर्शनी में महाविद्यालय के विभिन्न विभागों के विद्यार्थियों तथा स्कूल के द्वारा कुल 60 प्रोजेक्ट्स का प्रदर्शन किया गया। इन प्रोजेक्ट्स को महुआडांड़ क्षेत्र के विभिन्न विद्यालयों के छात्र-छात्राओं, स्थानीय निवासियों, एवं उपस्थित अतिथियों, व अवलोकन कर्ताओं के समक्ष प्रस्तुत किया गया।
प्रदर्शनी में प्रदर्शित सभी प्रोजेक्ट्स और मॉडल्स आधुनिक विज्ञान, प्रौद्योगिकी, तकनीकी एवं आर्थिक विकास, सामाजिक विकास के संदर्भ में उत्पन्न होने वाली समसामयिक समस्याओं और उनके दीर्घकालिक समाधान को प्रस्तुत कर रहे थे। विशेष रूप से विद्यार्थियों ने विकास के साथ पर्यावरण संरक्षण की अनिवार्यता पर बल दिया और अपने मॉडल्स एवं प्रोजेक्ट्स के माध्यम से इस विषय पर जागरूकता फैलाने का प्रयास किया।
विद्यार्थियों ने अपने अभिनव प्रयोगों और सृजनशीलता से यह संदेश दिया कि मनुष्य केवल पर्यावरण की रक्षा करने तक सीमित नहीं रह सकता, बल्कि उसे एक ऐसे भविष्य का निर्माण करना होगा जहां प्रकृति को किसी प्रकार की सुरक्षा की आवश्यकता ही न पड़े। उन्होंने अपने मॉडल्स द्वारा यह स्पष्ट किया कि किस प्रकार हम विवेक, तर्क, बुद्धि और नवाचार का प्रयोग करके पर्यावरण को संरक्षित रखते हुए एक स्थायी और सतत विकास की दिशा में अग्रसर हो सकते हैं।*
प्रदर्शनी के दौरान दर्शकों ने प्रत्येक मॉडल को बारीकी से अवलोकन किया, उनकी कार्यप्रणाली को समझा और विद्यार्थियों से संवाद स्थापित किया। विद्यार्थियों ने भी पूरे उत्साह और आत्मविश्वास के साथ अपने प्रोजेक्ट्स की विस्तृत व्याख्या की, जिससे न केवल उनकी प्रस्तुति कौशल का विकास हुआ, बल्कि उनकी वैज्ञानिक अवधारणाएं भी और अधिक स्पष्ट हुईं।
विद्यार्थियों के उत्कृष्ट प्रदर्शन को मान्यता प्रदान करने और उनके प्रोत्साहन हेतु मुख्य अतिथियों द्वारा उन्हें पुरस्कार स्वरूप मोमेंटो तथा आर्थिक राशि तथा एक्सलेंस सर्टिफिकेट प्रदान की गई। तथा साथ ही साथ ओवरऑल विनर की भी घोषणा की गई।इस अवसर पर महाविद्यालय के विभिन्न संकायों के प्रोफेसर्स ने भी विद्यार्थियों को उनके उत्कृष्ट योगदान के लिए बधाई दी।
इस कार्यक्रम को सफल बनाने में महाविद्यालय की उप-प्राचार्य फादर समीर टोप्पो, फादर राजीप तिर्की, फादर लियो, सिस्टर चंद्रोदय, प्रोग्राम को-ऑर्डिनेटर असिस्टेंट प्रोफेसर शेफाली प्रकाश, को – कॉर्डिनेटर रोनित मार्सल जेस, असिस्टेंट प्रोफेसर रोज एलिस बरला असिस्टेंट प्रोफेसर सुरभी सिंह असिस्टेंट प्रोफेसर रोनित खेस, असिस्टेंट प्रोफेसर डॉ आरिफुल हक तथा सभी शिक्षक और शिक्षेत्तर कर्मचारी
तथा विशेष रूप से मंच संचालन की भूमिका निभाने वाले असिस्टेंट प्रोफेसर अविनाश यादव एवं असिस्टेंट प्रोफेसर केरेन का सराहनीय योगदान रहा। असिस्टेंट प्रोफ़ेसर अविनाश और केरेन ने मुख्य अतिथियों का विशेष रूप से अभिनंदन व स्वागत किया। संक्षेप में साइंस एग्जिबिशन कमिटी के सभी सदस्यों का इसमें अतुलनीय और अविस्मरणीय योगदान रहा।
साथ ही राजनीति विज्ञान के विभागाध्यक्ष और असिस्टेंट प्रोफ़ेसर अविनाश यादव ने संत जेवियर्स कॉलेज में विज्ञान प्रदर्शनी के उद्देश्य और महत्व को रेखांकित करते हुए कहा कि _”विज्ञान और तकनीकी समस्त मानव और मानवता के लिए आशा है। यह सिर्फ मानव के लिए ही नहीं बल्कि इस सृष्टि के समस्त जीवों के लिए आश्चर्य जनक, आकर्षक और अद्भुत उपहार है। यह मनुष्य की इच्छाओं, आकांक्षाओं, और अभिलाषाओं को प्राप्त करने का एक सशक्त माध्यम है।इसलिए हमारा संत जेवियर्स महाविद्यालय वर्षों से अपने विद्यार्थियों को वैज्ञानिक शिक्षा, अनुसंधान और खोज की ओर उन्मुख करने के लिए हमेशा से ही प्रयत्नशील रहा है।
इस विज्ञान प्रदर्शनी कार्यक्रम के ओवरऑल विजेता वनस्पति विज्ञान विभाग के तृतीय वर्ष के छात्र छात्राओं को उदघोषित किया गया। इसके लिए उन्हें उत्कृष्ट मोमेंटो और एक्सलेंस सर्टिफिकेट प्रदान किया गया।
इस प्रकार, विभिन्न रचनात्मक परियोजनाओं के जरिए संत जेवियर्स महाविद्यालय ने एक बार फिर यह सिद्ध कर दिया कि वह विद्यार्थियों के समग्र एवं सर्वांगीण विकास के लिए सदैव तत्पर है और भविष्य में भी ऐसे शैक्षिक एवं नवाचार संबंधी कार्यक्रमों का आयोजन करता रहेगा।